प्रेम से बोलिए, एंटी करप्शन मूवमेंट स्वाहा – DILIP C MANDAL

अब ऊपर मोदी और नीचे केजरीवाल हैं और इस समय भारतीय जेलों में कौन कौन से भ्रष्टाचारी बंद हैं, आप बताएं. रॉबर्ट वाड्रा या शीला दीक्षित या कोई उद्योगपति या कोई बड़ा अफसर? कौन है जेल में?
वहीं,
मनमोहन ने राज चाहे जैसा चलाया, लेकिन उनके समय में जो करप्शन में जेल गए, उनमें कुछ नाम ये हैं:
सुरेश कलमाडी
ए राजा
कनिमोई
ललित भनोट
ए. के. मट्टू
सार्थक बेहूरिया
आर के चंडोलिया
संजय चंद्रा
गौतम दोशी
हरि नायर
विनोद गोयनका
शाहिद बलवा
करीम मोरानी
रशीद मसूद....
और राज्यों के मामलों में जेल जाने वालों का हिसाब इसमें नहीं है. मतलब कि केंद्र में कैंबिनेट मंत्री से लेकर सेक्रेटरी लेबल के अफसर और सबसे बड़ी सहयोगी पार्टी की नेता से लेकर यूनिटेक जैसी उस समय की भारी कंपनी के मालिक तक जेल गए. बिना लोकपाल के प्रपंच के ही जेल गए. कानून ने जेल भेजा.
इन दोनों के नकारेपन में, मनमोहन जैसा करप्शन का सरताज भी संत दिखने लगा है. मनमोहन के समय जेल जाने का डर तो होता था. आज है क्या?
प्रेम से बोलिए, एंटी करप्शन मूवमेंट स्वाहा -2
- केंद्रीय मंत्री तिहाड़ में
- देश के सबसे बड़े खेल प्रशासक और सत्ताधारी पार्टी के सांसद जेल गए
- देश की सबसे बड़ी रियल एस्टेट कंपनी में से एक के मालिक तिहाड़ में
- शीर्ष नौकरशाह जेल में.
- सत्ता पक्ष की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी की नेता जेल में
- देश की सबसे बड़ी फाइनैंस कंपनी में से एक के मुखिया तिहाड़ में
तथाकथित भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन की सफलता के बाद और ऊपर मोदी और नीचे केजरीवाल के आने के बाद अब तो ऐसी कोई हेडलाइंस यानी शीर्षक नहीं सुनते आप? इसका दो ही मतलब है:
1. या तो देश से भ्रष्टाचार खत्म हो चुका है और पिछली सरकार का भी कोई भ्रष्टाचार पेंडिंग नहीं है.
2. नई सरकार भ्रष्टाचार से लड़ने में पिछली सरकार से भी ज्यादा निकम्मी और निठल्ली है या फिर करप्शन में उसके हाथ भी सने हुए हैं.
प्रेम से बोलिए, एंटी करप्शन मूवमेंट स्वाहा -3
ऊपर मोदी है,
नीचे केजरीवाल है.
भ्रष्टाचार मुक्त जंबूद्वीप में जनता प्रसन्न है.
देश के भ्रष्ट नेता-अफसर-उद्योगपति बोरिया विस्तर बांधकर देश से प्रस्थान कर चुके हैं.
जिन्होंने मनमोहन राज में करप्शन किया था, वे सारा भ्रष्ट धन रिजर्व बैंक में जमा कर चुके हैं.

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